
यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा जासूसी मामले में बड़ा खुलासा
हरियाणा के हिसार से ताल्लुक रखने वाली यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा को पाकिस्तान के लिए जासूसी करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। पुलिस और खुफिया एजेंसियों की जांच में सामने आया है कि ज्योति पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISI के संपर्क में थी और उसने भारत की संवेदनशील जानकारियां साझा की थीं।

हिसार के एसपी शशांक कुमार सावन ने शनिवार को प्रेस वार्ता में बताया कि ज्योति पहलगाम हमले से पहले पाकिस्तान गई थी और वहीं से उसके आईएसआई से जुड़ाव की शुरुआत हुई।
कैसे एक ट्रैवल यूट्यूबर बनी पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी की एसेट?
ज्योति के यूट्यूब चैनल “ट्रैवल विद जो” पर पोस्ट किए गए वीडियोज ने जांच एजेंसियों को शक की दिशा दी। वीडियो में उसे पाकिस्तानी दूतावास के अधिकारी दानिश के साथ काफी करीबी तौर पर देखा गया।
ज्योति की पाकिस्तान यात्रा महज़ टूरिज्म नहीं बल्कि एक प्रायोजित और गहराई से रची गई योजना थी। ISI उसे एक एसेट के रूप में विकसित कर रही थी। वह अन्य यूट्यूबर्स के संपर्क में भी थी, और एक विस्तृत नेटवर्क का हिस्सा बन चुकी थी।
पाकिस्तान की इफ्तार पार्टी में VIP ट्रीटमेंट और ISI से कनेक्शन
2024 में ज्योति पाकिस्तान के नेशनल डे के मौके पर नई दिल्ली स्थित पाकिस्तानी दूतावास की इफ्तार पार्टी में शामिल हुई थी। वहां उसका स्वागत दानिश ने बेहद गर्मजोशी से किया, और वह पाकिस्तानी अधिकारियों की घनिष्ठता से मिली।
ज्योति ने इस पार्टी की वीडियो भी अपने चैनल पर डाली थी, जिसमें उसे पाकिस्तानी अफसरों और कुछ चीनी अधिकारियों से बातचीत करते हुए देखा गया।
यात्रा का संदेहजनक पैटर्न: पाकिस्तान, चीन, नेपाल और वीवीआईपी ट्रीटमेंट
2024 में मात्र दो महीने के भीतर ज्योति पाकिस्तान, चीन और नेपाल जैसे देशों की यात्रा कर आई। सवाल यह उठा कि एक साधारण यूट्यूबर को इतने आसानी से इन देशों के वीजा कैसे मिल गए?

इसके अलावा वह फ्लाइट में फर्स्ट क्लास में सफर करती थी, महंगे होटल्स में ठहरती थी और महंगी शॉपिंग भी करती थी। जबकि उसके पास कोई स्थायी नौकरी नहीं थी और वह हिसार में एक साधारण घर में रहती थी।
पाकिस्तान में हाईप्रोफाइल संपर्क: CM मरियम नवाज का इंटरव्यू तक किया
ज्योति की पाकिस्तान यात्रा के दौरान उसकी मुलाकात पंजाब प्रांत की मुख्यमंत्री और नवाज शरीफ की बेटी मरियम नवाज शरीफ से हुई। उसने मरियम का इंटरव्यू भी लिया।
एक सामान्य यूट्यूबर का इतनी प्रभावशाली हस्ती तक पहुंचना सुरक्षा एजेंसियों को खटका।

ज्योति मल्होत्रा की गिरफ्तारी की कहानी: कब, कैसे और क्यों?
15 मई को सुबह 10 बजे पुलिस ने उसके हिसार स्थित घर पर छापा मारा। जांच के दौरान मोबाइल, लैपटॉप और अन्य डिवाइस जब्त की गईं। शुरुआत में पूछताछ के बाद उसे छोड़ा गया, लेकिन बाद में पुख्ता सबूत मिलने पर गिरफ्तार कर लिया गया।
पुलिस को उसके खर्च और आय में भारी अंतर मिला, साथ ही उसके बैंक खातों और सोशल मीडिया की भी गहन जांच की जा रही है।
पाकिस्तान के संपर्क में कैसे आई ज्योति? उसके बयान से खुलासा
पुलिस को दिए बयान में ज्योति ने बताया कि वह ‘पाकिस्तान को एक्सप्लोर’ करना चाहती थी और इसी बहाने वीजा के लिए दूतावास पहुंची। वहां उसकी मुलाकात दानिश से हुई और बातों-बातों में उनके बीच नजदीकियां बढ़ गईं।
दानिश ने पाकिस्तान में उसके टूर का इंतज़ाम कराया, जहां वह अली आहवान नाम के शख्स से मिली। अली ने उसे ISI अफसरों शाकिर और राणा शहबाज से मिलवाया। ज्योति ने शाकिर का नंबर भी सेव किया और उसे ‘जट रंधावा’ के नाम से फीड किया।

भारत लौटने के बाद शुरू की खुफिया जानकारी साझा करना
पुलिस के अनुसार, भारत लौटने के बाद ज्योति ने वॉट्सऐप, स्नैपचैट और टेलीग्राम जैसे माध्यमों से पाकिस्तानी अधिकारियों को जानकारियां भेजनी शुरू कीं। हालांकि उसने क्या-क्या साझा किया, इसकी जांच अभी चल रही है।
आम घर की लड़की कैसे पहुंची जासूसी के इस मकड़जाल में?
- जन्म और पृष्ठभूमि: हिसार की न्यू अग्रसेन कॉलोनी की रहने वाली ज्योति का घर बेहद साधारण है। उसके पिता एक कारपेंटर हैं और मां-पिता का तलाक 20 साल पहले हो चुका है।
- नौकरी से यूट्यूब तक: दिल्ली में 20,000 की नौकरी के बाद वह कोरोना काल में घर लौट आई और यूट्यूब चैनल शुरू किया।
- शानदार लाइफस्टाइल: आम लड़की होते हुए भी वह इंटरनेशनल टूर, ब्रांडेड कपड़े, फर्स्ट क्लास ट्रैवल और महंगे होटल्स में रहना पसंद करती थी।
अब आगे क्या?
हरियाणा पुलिस और केंद्रीय एजेंसियां इस केस की टेरर लिंक तक जांच कर रही हैं। ज्योति को कोर्ट में पेश कर 5 दिन की रिमांड पर लिया गया है। उसके खिलाफ ऑफिशियल सीक्रेट्स एक्ट और अन्य धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।
एक ट्रैवल ब्लॉगर से देशद्रोह की कहानी तक
यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा की कहानी उस कड़वी सच्चाई की तरफ इशारा करती है कि सोशल मीडिया की चकाचौंध और दिखावटी दुनिया के पीछे कितना कुछ छुपा हो सकता है। यह मामला सिर्फ जासूसी नहीं, बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ी एक बड़ी चुनौती बन गया है।
